राजस्थान में कोरोना जरूरतमंदों के लिए शुरू की हेल्पलाइन, जीरो वेटिंग के साथ मिल रहा मुफ्त इलाज

राजस्थान में कोरोना जरूरतमंदों के लिए शुरू की हेल्पलाइन, जीरो वेटिंग के साथ मिल रहा मुफ्त इलाज

इन वॉलेंटियर डॉक्टर्स के जज्बे को आप भी करेंगे सलाम..!

जयपुर. राजधानी जयपुर में कोरोना मरीजों की देखभाल के लिए एक हेल्पलाइन Helpline पिछले पांच सौ घंटों से लगातार काम कर रही है। यदि आपको कोरोना से संबंधित कोई भी लक्षण है तो आप हेल्पलाइन के नंबर पर कॉल कर परामर्श के साथ नि:शुल्क उपचार ले सकते हैं। इसके अलावा इस हेल्पलाइन ग्रुप की ओर से जो दवाई खरीदने में सक्षम नहीं है, उन्हें मुफ्त में दवाई भी उपलब्ध करवा रहे हैं। रविवार से हेल्पलाइन ग्रुप ने राज्य के कोविड अस्पताल आरयूएचएस RUHS के नजदीक बनाए गए प्वॉइंट पर ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की सुविधा भी जरूरतमंदों को शुरू कर दी है।

कैसे लें हेल्पलाइन की मदद?

यदि आपको कोरोना का कोई भी लक्षण है तो आप 9829774968 पर कॉल कर नि:शुल्क उपचार के सकते हैं। हेल्पलाइन के 30 विशेषज्ञ डॉक्टर्स लगातार आ रही कॉल्स को धैर्य पूर्वक सुनते हैं फिर मरीज को अपना परामर्श देते है। इस टेलीकॅन्सल्टेशन के माध्यम से जीरो वेटिंग टाइम में अभी तक करीब 1394 मरीज ठीक हो चुके हैं वहीं कई उपचाराधीन हैं। हेल्पलाइन पर फिलहाल करीब 200 कॉल्स प्रतिदिन प्राप्त हो रहे हैं।

covid helpline team : akhiriummeed.com

कैसे करती है काम?

हेल्पलाइन पर सम्पर्क करने वाले मरीज या उसके परिजन का जैसे ही डॉक्टर के साथ सम्पर्क होता है तो चैरिटी फील से लबरेज डॉक्टर्स सबसे पहले मरीज के भीतर के डर को दूर करते हैं और उन्हें समझाते हैं कि तुरंत उपचार होने से कोरोना प्राण घातक नहीं होता। इसके बाद लक्षण सुनकर एक प्रिस्क्रिप्शन तैयार किया जाता है और मरीज को विस्तृत रूप से समझा कर फ़ॉर्वर्ड कर देते हैं। यदि रोगी या उसके परिजन दवा खरीदने की स्थिति में नहीं होते तो हेल्पलाइन उन्हें नि:शुल्क दवा भी पहुंचा देती है।

ये रही वो टीम —

देशभर से आ रही कॉल्स पर जयपुर शहर के अनेक प्रतिभाशाली युवा डॉक्टर जैसे डॉ कनिका शर्मा, डॉ शिवम् शर्मा, डॉ सुश्रुत कालरा, डॉ विकेश विज, डॉ बलवीन सिंह, डॉ बीबन छाबड़ा, डॉ प्रांजल अग्रवाल, डॉ सलोनी अग्रवाल, डॉ पीयूष जोशी,डॉ गोयर, डॉ आशा जोशी, डॉ नैना अग्रवाल, डॉ प्रज्वी जैन समेत तमाम वॉलिंटियर बतौर स्वयंसेवक नि:शुल्क सेवा दे रहे हैं। वहीं कनिष्क शर्मा ने हेल्प लाइन से वॉलिंटियर डॉक्टर्स को जोड़ने, वर्क फ्लो संभालने और कोऑर्डिनेट करने की जिम्मेदारी ले रखी है तो अरस्तू ने बैक एंड सपोर्ट और फंड-रेजिंग पर काम करना तय किया है। सुप्रिया ने दवा और ऑक्सीजन डिलीवर करने में मदद करने का जिम्मा लिया हुआ है तो अंकित, मानव और सोमवीर ने हेल्प डेस्क सम्भाली हुई है। अब तो देश-विदेश से अनेक साथी इस समूह की आर्थिक जरूरतें भी पूरी कर रहे हैं।

क्या है उद्देश्य?

हेल्पलाइन के प्रतिनिधि डा. सुधांशु ने बताया कि उनका उद्देश्य है की अस्पताल जाने की स्थिति आने से पहले ही रोगी को तुरंत इलाज दिया जाए ताकि अस्पतालों पर लोड भी कम हो और रोगी भी आइसीयू वेंटिलेटर जैसी मुसीबतों से बचा रहे। उन्होंने बताया कि दूसरी लहर के प्रहार से बने माहौल में लॉक डाउन के दौरान टीम के सदस्य कुछ सकारात्मक कदम उठाना चाह रहे थे। उन्होंने बताया कि शुरुआत में बनी छोटी सी टीम में अब तक 100 से अधिक लोग जुड़ चुके हैं और अनेक रिक्वेस्ट पेंडिंग है। आरम्भ में हम डॉक्टर फीस की गणना कर रहे थे, किंतु सबसे सुंदर क्षण वह था जब डॉक्टर्स ने कहा कि जब ये चैरिटी है तो हम भी फीस नहीं लेंगे और नि:शुल्क काम करेंगे।

आज से उपलब्ध होगा नि:शुल्क ऑक्सीजन प्वाइंट

हेल्पलाइन ने अब जयपुर में RUHS के नजदीक एक नि:शुल्क ऑक्सीजन प्वाइंट भी उपलब्ध कराया है। जिससे रोगी का अचानक ऑक्सीजन लेवल गिरने और अस्पताल का इंतजाम होने के बीच के मुश्किल पलों में रोगी की मदद हो सके। इसके लिए एक बस में ऑक्सीजन कंसंट्रेटर भी उपलब्ध कराए गए हैं।

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