राजस्थान. दुनियाभर में कोरोना वायरस (corona virus) के चलते जनजीवन ठहर सा गया है। लोगों में वायरस के प्रति पनपे भय को निकालने के लिए सरकारें अपने अपने स्तर पर जनजागरूकता अभियान भी चला रही हैं। वहीं ज्यादातर जगहों पर एहतियात के दौर पर सभी जरूरी कदम भी उठाए जा रहे हैं।
बात राजस्थान (rajasthan) प्रदेश की करें तो सरकार पहले ही 31 मार्च तक स्कूल, कॉलेज, सिनेमा हॉल, जिम, मॉल आदि को बंद रखने की सूचना जारी कर चुकी है। साथ ही अब एक स्थान पर ज्यादा भीड़ भाड़ न करने एवं एक साथ 50 से ज्यादा लोगों के इकट्ठा न होने पर भी रोक लगाई गई।
ऐसे में 5 अप्रैल को होने वाले नगर निगम चुनावों (nagar nigam election) पर आमजन के साथ ही नगर निगम प्रत्याशियों के मन में एक संशय बना हुआ है कि आखिर चुनाव समय पर होंगे या नहीं और यदि होंगे तो इन बंदिशों के चलते लोग खुलकर अपना चुनाव प्रचार कैसे कर पाएंगे।
सवाल ये भी उठता है कि 30 अप्रैल तक सरकार ने जनसभा करने पर रोक लगाई हुई है। उसके बाद प्रत्याशी के पास सिर्फ 3 दिन का समय ही शेष बचता है। क्योंकि एक दिन पहले तो वैसे ही चुनाव प्रचार थम जाता है।
वहीं डोर टू डोर कैंपेन करने पर भी प्रत्याशियों के मन में चिंता बनी हुई है साथ ही चुनावों में बांटी जाने वाली सामग्री पम्पलेट्स आदि पर भी असर देखने को मिलेगा। ऐसे में आमजन का कहना है कि यदि चुनाव आयोग अपने निर्णय में कोई बदलाव नहीं करता है तो सरकार और न्यायालय को इस बारे में सोच विचार करना चाहिए।
हालांकि मंगलवार को भारतीय जनता पार्टी की ओर से मुख्य निर्वाचन आयुक्त श्याम सिंह राजपुरोहित को चुनाव स्थगित करने के संबंध में लिखित में आग्रह पत्र सौंपा जा चुका है।